सरकार ने महिलाओं को आगे बढ़ाने के लिए बहुत सारे प्रशिक्षण और ऐसे रोजगार कार्यक्रम शुरू किया है जिससे कि महिलाएं सशक्त हो सके व अपना सहभागी दे सकें देश के विकास में। क्योंकि हर किसी का मानना है कि यदि घर की महिलाएं प्रशिक्षित होगी तो समय आने पर घर की हर परिस्थिति को संभाल पाएंगी। इसीलिए सरकार ने महिलाओं के लिए अनेको प्रशिक्षण और रोजगार कार्यक्रम शुरू किए हैं इसके बारे में हम आपको अपने इस पोस्ट में बताने वाले हैं।
1-महिला स्वरूप रोजगार योजना-(Women’s Swaroop Employment Scheme)
महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए राज्य सरकार द्वारा सन 2005 में महिला स्वरोजगार योजना शुरू की गई है। जिसके द्वारा पिछड़े व गरीब वर्ग की महिलाओं को सरकार द्वारा पहले ₹2500 दिए जाते थे लेकिन अब नई सरकार में ₹5000 दिए जाते हैं जिससे कि वह कोई भी व्यावसायिक यंत्र खरीद कर अपना नया व्यवसाय शुरू कर सके। इस योजना का लाभ लेने के लिए उस महिला की उम्र कम से कम 18 साल या इससे अधिक होनी चाहिए अन्यथा वह इस योजना की पात्र नहीं होगी। और साथ ही साथ उस महिला के पारिवार की वार्षिक आय 35000 रुपए से कम होनी चाहिए इससे अधिक नहीं होनी चाहिए। इन सभी पत्रताओं को रखने वाली महिलाएं ही इस योजना का लाभ ले पाएंगी।
2-इंदिरा महिला शक्ति कौशल समर्थन योजना-(Indira Mahila Shakti Kaushal Support Yojana)
राजस्थान सरकार द्वारा इंदिरा महिला शक्ति कौशल समर्थन योजना की शुरुआत की गई है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य है कि राज्य की महिलाओं को सक्षम बनाना व रोजगार करने के लिए उन्हें मार्ग प्रशस्त करना। यही योजना राजस्थान सरकार द्वारा महिलाओं को मुफ्त में ट्रेनिंग दे रही है जिससे कि महिलाएं सशक्त हो सके। इस योजना के अंतर्गत महिलाओं को इलेक्ट्रॉनिक, लॉजिस्टिक,स्वास्थ्य देखभाल, हस्तशिल्प, परिधान, सौंदर्य, आईटी जैसे लगभग 35 क्षेत्र में ट्रेनिंग दी जाएगी जिससे कि वह सशक्त हो सके व अपना खुद का रोजगार खोल सके। इस योजना के तहत अब तक लगभग 3000 महिलाओं ने लाभ प्राप्त किया है। राजस्थान राज्य के कोटा, जयपुर तथा अन्य जिलों में इस योजना को सरकार द्वारा कौशल विकास केंद्र से चालू किया गया है। इस योजना का लाभ लेने के लिए आवेदक महिला को कम से कम 16 साल की आयु का होना जरूरी है। इस योजना के लिए आप ऑफलाइन आवेदन कर सकते हैं।
3-स्वयं सहायता समूह योजना-(Self Help Group Scheme)
स्वयं सहायता समूह द्वारा महिलाओं को किस प्रकार से बचत किया जाता है के बारे में सविस्तार जानकारी दी जाती है। इस योजना में भाग लेने के लिए महिला को स्वयं कुछ पैसे जमा करने होते हैं जिसके बाद पैसे इकट्ठा होते ही महिला उन पैसों से कोई लघु उद्योग की शुरुआत कर सकती है। जिससे कि हर बार समूह के किसी एक महिला को रोजगार मिलने का अवसर प्राप्त होता है। स्वयं सहायता समूह को बैंक द्वारा पैसा दिया जाता है। जिससे कि पैसों की लेनदेन में आसानी हो जाती है। इस योजना की शुरुआत करने के लिए महिलाओं को एक समूह बनाना पड़ता है जिसके लिए कम से कम 10 से 20 महिलाओं का होना बेहद ही जरूरी है।
4-महिला उद्यम निधि योजना-(Women Enterprise Fund Scheme)
महिला उद्यम निधि योजना सरकार द्वारा महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए शुरू किया गया है। इस योजना के माध्यम से महिलाएं बैंक द्वारा कम से कम 10 लाख रुपए तक लोन ले सकती है और खुद का उद्योग कर सकती है। इस योजना की एक सबसे अच्छी बात यह है कि वह महिला जिसने लोन लिया है उसे लोन भरने की अवधि 10 साल तक की दी जाती है जिसमें की 5 साल तक तो उसे लोन चुकाने की जरूरत नहीं पड़ती है। लेकिन इस योजना का लाभ लेने के लिए उस महिला को कम से कम 50% की हिस्सेदारी उस उद्योग में होना जरूरी है।
5-मुक्त सिलाई मशीन योजना (free sewing machine plans)
मुफ्त सिलाई मशीन योजना आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी द्वारा शुरू किया गया है। इस योजना के माध्यम से पिछड़े व गरीब महिलाओं को मुफ्त में सिलाई मशीन देने का सरकार द्वारा एक मुहिम शुरू की गई है। जिससे कि उन महिलाओं को रोजगार मिल सके व घर बैठे वह कपड़े सील करके अपनी आर्थिक कमाई कर सकें व अपना गुजर बसर कर सके। अभी तक सरकार ने लगभग पूरे भारत में 60000 से अधिक महिलाओं को मुफ्त में सिलाई मशीन दी है। इस योजना का लाभ लेने के लिए महिला को कम से कम 20 से 40 की आयु का होना जरूरी है तभी वह इस योजना का लाभ ले सकती हैं। तथा साथ ही साथ इस योजना का लाभ लेने के लिए उस महिला की पारिवारिक वार्षिक आय कम से कम 14000 से कम होनी चाहिए। इस योजना द्वारा सरकार महिलाओं को सशक्त बनाना चाहती है।
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